दिल्ली नगर निगम (“MCD” ) - "जीवन के साथ भी, जीवन के बाद भी"
दैनिक जीवन में MCD का क्या महत्व है, उपरोक्त स्लोगन इस पर
एकदम खरा उतरता है। यदि कहा जाए MCD की पहुंच हर घर तक है, तो अतिश्योक्ति न होगी। दिल्ली एक केंद शासित प्रदेश है। इसी कारण लगभग दो करोड़ जनता के बीच नित्य काम करने वाली MCD का स्वरूप, कार्य कलाप अन्य नगर निगमों से अलग करता है।
वर्ष 2011 में MCD पर वर्चस्व प्राप्त करने के उद्देश्य से तत्कालीन दिल्ली सरकार ने इसे तीन भागों में विभाजित करने का एक अदूरदर्शी निर्णय लिया जिससे MCD पर प्रशानिक खर्चों की भारी आर्थिक मार भार पडी। NORTH व् EAST -MCD जो हमेशा ही आर्थिक रूप से कमजोर बनी रही , को अपना अस्तित्व बचाने के संघर्ष करना पड़ा। उसकी स्तिथि नंगा नहायेगा क्या और निचोड़े क्या वाली रही।
जैसा की हम सभी जानते ही कि राजनैतिक कारणों से वर्तमान दिल्ली सरकार का MCD से छत्तीस का आंकड़ा है । दिल्ली सरकार दवरा MCD को फंड न दिए जाने का सीधा असर आम लोगों के रोजमर्रा के जीवन पर पड़ रहा है । सफाई व्यवस्था , सड़क निर्माण आदि न होने से दिल्ली की छवि देश में ही नहीं, अंतर्राष्ट्रीय स्तर भी धूमिल हुई है ।
उपरोक्त हालातों को देखकर यही कहा जा सकता है कि केंद की मोदी सरकार का तीनों दिल्ली नगर निगमों का एकीकरण लोगों के जीवन स्तर को ऊंचा उठाने के लिए लिया गया एक सराहनीय कदम है।
यह भी सत्य है दिल्ली सरकार का केंद्र , MCD से आये दिन टकराव , यहाँ के लोगों जीवन पर सीधा असर ड़ाल रहा है। सड़क पानी की क्या स्तिथि है किसी से भी छिपी नहीं ।आप स्वयंम ही देख लीजिये।
विधयिका में डिबेट ,दिल्ली की समस्या पर केंद्रित न हो अन्य मुद्दों पर आधारित होती है, क्या हम सभी ने इसी उद्देश्य के लिए केंद्र शासित प्रदेश दिल्ली में विधान सभा की मांग की थी ?
खैर , उम्मीद है जिस प्रकार केंद्र की मोदी सरकार ने दिल्ली की 1731 अनधिकृत कॉलोनियों को अधिकृत करने का क़ानून संसद में पास किया है व् PM-UDAY के तहत यहां के लाखों लोगों को मालिकाना हक़ देने का काम किया है व् वर्तमान में काम जोरों पर है।मै गर्व से कह सकता हूँ कि अन्यों की तरह मेरा परिवार भी PM-UDAY के तहत मालिकना हक़ का एक लाभार्थी है , जिसके लिए हम सभी अपने प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी दिल से आभारी है। हम जो सपना दशकों पहले मदन लाल खुराना जी के समय देखा करते थे , वो पूरा हुआ , निश्चय ही यह प्रधानमंत्री जी दूरदर्शी सोच का नतीजा है।
अंत में यही कहा जा सकता है कि केंद्र सरकार द्वारा संसद में पारित होने वाला, दिल्ली के तीनों नगर निगमों का एकीकरण बिल एक मील का पत्थर साबित होगा। ऐसी हम सबकी कामना है।
जय हिन्द ! जय भारत !
29.3.22
C-केंद्र द्वारा - तीनों दिल्ली नगर निगमों का एकीकरण
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